संदेश

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 सोमनाथ मंदिर के बारे मे जानकारी परिचय सोमनाथ मंदिर भारत के सबसे प्राचीन और पवित्र मंदिरों में से एक है। यह मंदिर गुजरात राज्य के सौराष्ट्र क्षेत्र में, अरब सागर के किनारे स्थित है। इसे भगवान शिव के बारह ज्योतिर्लिंगों में से पहला माना जाता है। सोमनाथ मंदिर हिन्दू आस्था, संस्कृति और पुनर्निर्माण की प्रतीक है। इतिहास: सोमनाथ मंदिर का इतिहास बहुत पुराना है। कहा जाता है कि इस मंदिर का निर्माण चंद्रदेव ने भगवान शिव की पूजा करने के लिए करवाया था। इसके कारण इस मंदिर को "सोमनाथ" नाम दिया गया, जिसका अर्थ है – "सोम (चंद्रमा) का स्वामी"। इतिहासकारों के अनुसार, यह मंदिर कई बार विदेशी आक्रांताओं द्वारा ध्वस्त किया गया, लेकिन हर बार इसे फिर से बनाया गया। आक्रमण और पुनर्निर्माण: सोमनाथ मंदिर को महमूद गजनवी ने 1025 ईस्वी में लूटा और तोड़ा। इसके बाद अलाउद्दीन खिलजी के सेनापति, औरंगज़ेब और अन्य मुस्लिम शासकों ने भी मंदिर पर हमला किया। लेकिन हर बार हिन्दू समाज ने इसे फिर से बनवाया। आज़ादी के बाद भारत सरकार ने इसे पुनः निर्माणित किया। 1951 में भारत के पहले राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसा...

स्टेच्यू ऑफ यूनिटी

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 स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के बारे मे  परिचय: स्टैच्यू ऑफ यूनिटी भारत का गौरव और शौर्य का प्रतीक है। यह विश्व की सबसे ऊँची प्रतिमा है जो भारत के लौह पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल को समर्पित है। इस प्रतिमा का उद्घाटन 31 अक्टूबर 2018 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किया गया था। यह प्रतिमा गुजरात राज्य के नर्मदा जिले के केवड़िया गांव में स्थित है, जो सरदार सरोवर डैम के सामने है। निर्माण का उद्देश्य: इस प्रतिमा को बनाने का मुख्य उद्देश्य भारत की एकता और अखंडता का संदेश देना था। सरदार पटेल ने 562 रियासतों को एकजुट करके आधुनिक भारत की नींव रखी थी। उनके इस योगदान को सम्मान देने और आने वाली पीढ़ियों को उनके महान कार्यों से प्रेरित करने के लिए यह स्मारक बनाया गया। डिज़ाइन और निर्माण: स्टैच्यू ऑफ यूनिटी की ऊँचाई 182 मीटर (597 फीट) है, जो इसे विश्व की सबसे ऊँची प्रतिमा बनाती है। इसे प्रसिद्ध मूर्तिकार राम वी. सुतार ने डिज़ाइन किया है। इसके निर्माण में करीब 3000 करोड़ रुपए खर्च हुए और इसे बनाने में लगभग 4 साल लगे। इसमें स्टील फ्रेम, कांस्य की परतें और मजबूत कंक्रीट का उपयोग किया गया है। विशेषताए...

Piramid ke bare me

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 पिरामिड क्या हैं 

Historical site

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Thaj mahal ki historical site  परिचय ताजमहल भारत की सबसे प्रसिद्ध और आकर्षक ऐतिहासिक इमारतों में से एक है। यह उत्तर प्रदेश के आगरा शहर में यमुना नदी के किनारे स्थित है। ताजमहल को "प्रेम का प्रतीक" कहा जाता है, क्योंकि इसे मुग़ल सम्राट शाहजहाँ ने अपनी प्रिय पत्नी मुमताज़ महल की याद में बनवाया था। इसकी सुंदरता, स्थापत्य कला और ऐतिहासिक महत्त्व के कारण यह दुनिया के सात आश्चर्यों में शामिल है। निर्माण और इतिहास: ताजमहल का निर्माण कार्य 1632 ई. में शुरू हुआ और लगभग 22 वर्षों बाद 1653 ई. में पूरा हुआ। इसे बनाने में लगभग 20,000 कारीगरों और मजदूरों ने दिन-रात मेहनत की। इस भव्य मकबरे का निर्माण सफेद संगमरमर से किया गया, जो राजस्थान के मकराना से लाया गया था। इसके निर्माण में फारसी, इस्लामी, तुर्की और भारतीय वास्तुकला का समावेश है। कहा जाता है कि शाहजहाँ ने मुमताज़ की मृत्यु के बाद गहरे शोक में डूबकर यह इमारत बनवाने का निर्णय लिया था। वास्तुकला की विशेषताएं: ताजमहल की वास्तुकला विश्वविख्यात है। इसकी मुख्य इमारत एक विशाल गुम्बद के नीचे स्थित है, जिसकी ऊँचाई लगभग 73 मीटर है। इस गुम्बद के ...